महाराष्ट्र में भारी बारिश के कारण भीषण हादसा
महाराष्ट्र के लोकप्रिय पर्यटन स्थल लोनावला के भूषी डैम के पास भारी बारिश के चलते एक भयंकर दुर्घटना घटी। रविवार को 1:30 बजे के आस-पास इस हादसे में पांच लोगों का एक परिवार बहते पानी में डूब गया, जिसमें एक महिला और चार बच्चे शामिल थे। यह घटना पुणे के सैयद नगर के निवासियों के साथ हुई, जो वहां पिकनिक के उद्देश्य से गए थे।
भूषी डैम का खतरा
भूषी डैम, जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता और पिकनिक स्पॉट के लिए जाना जाता है, भारी बारिश के दौरान अत्यधिक जोखिमभरा हो सकता है। रविवार को डैम ओवरफ्लो होने की स्थिति में पानी का बहाव इतना तेज हुआ कि लोग खुद को संभाल नहीं सके। दुर्घटना के समय उक्त परिवार एक जलप्रपात के पास था, जो डैम से लगभग दो किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।
जल्दीय कार्रवाई और राहत प्रयास
घटना की सूचना मिलते ही राहत एवं बचाव दल ने मौके पर तत्काल कार्रवाई की। अब तक दो शव बरामद किए गए हैं, जिनमें 40 वर्षीय महिला और 13 साल की लड़की शामिल हैं। हालांकि, दो छह साल की लड़कियां और चार साल का एक लड़का अभी भी लापता हैं।
परिवार की मर्माहत स्थिति
पीड़ित परिवार का दुखद हालचाल सुनकर पूरा देश शोक में है। इस हादसे ने सभी को सतर्क कर दिया है कि प्राकृतिक स्थानों पर जाने से पहले सतर्कता बरतनी कितनी आवश्यक है।
दिल्ली में भी स्थिति गंभीर
इस बीच, राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में भी भारी बारिश ने कहर ढाया है। अलग-अलग घटनाओं में एक वृद्ध, एक युवक और चार बच्चों की डूबने से मौत हो गई। दिल्ली के ओखला में एक 60 वर्षीय व्यक्ति, दिग्विजय कुमार चौधरी, एक अंडरपास में फंसे हुए पानी में डूब गए।
सावधान रहें, सुरक्षित रहें
इस प्रकार की आकस्मिक घटनाएं हमें यह सिखाती हैं कि हमें प्राकृतिक स्थानों पर सतर्क रहना चाहिए। कठिन मौसम की स्थिति में सुरक्षा उपायों का पालन करना अत्यंत आवश्यक है। इस भयंकर घटना ने यह साबित कर दिया है कि जीवन चाहे कितना भी अनमोल क्यों न हो, खतरे की अनदेखी नहीं की जा सकती। इसलिए, सभी से अनुरोध है कि वे आकस्मिक यात्राओं से बचें और मौसम की जानकारियों पर ध्यान दें।
Urvashi Dutta
जुलाई 1, 2024 AT 15:40इस हादसे ने मुझे बहुत दुखी कर दिया है। मैं लोनावला की बारिश के मौसम के बारे में बहुत कुछ पढ़ चुकी हूँ-वहाँ के डैम और जलप्रपात बहुत सुंदर होते हैं, लेकिन बारिश के दौरान वहाँ जाना बिल्कुल भी सुरक्षित नहीं है। लोग फोटो खींचने के लिए खतरनाक किनारों पर जाते हैं, और फिर एक बार जब पानी उठ जाता है, तो कोई बच नहीं पाता। मैंने एक बार एक स्थानीय गाइड से बात की थी, जिसने कहा था कि भूषी डैम के आसपास के क्षेत्रों में जल स्तर बिना किसी चेतावनी के 2-3 मिनट में 3 फीट तक बढ़ सकता है। लोग सोचते हैं कि ये सिर्फ एक छोटी सी बारिश है, लेकिन ये बारिश नहीं, एक नदी बन जाती है। अगर हमारे शहरों में इस तरह के स्थानों के लिए सुरक्षा बोर्ड और एलआरडी (लाइव रिस्क डिटेक्शन) सिस्टम लगे होते, तो शायद ये त्रासदी नहीं होती। हम अक्सर बाहर जाने के बारे में सोचते हैं, लेकिन नहीं सोचते कि वहाँ क्या हो सकता है। ये बस एक दुर्घटना नहीं, ये एक अनदेखी की आवाज़ है।
Rahul Alandkar
जुलाई 3, 2024 AT 14:04बारिश में डैम के पास जाना बहुत जोखिम भरा है। मैंने खुद एक बार ऐसा किया था, और बाद में बहुत दुख हुआ।
Jai Ram
जुलाई 4, 2024 AT 11:00हमें इस तरह की घटनाओं से सीखना चाहिए। अगर आप किसी डैम, नदी या जलप्रपात के पास जा रहे हैं, तो अपने बच्चों को कभी अकेले न जाने दें। मैं एक स्थानीय नदी बचाव समूह का हिस्सा हूँ, और हम हर बारिश के मौसम में इन स्थानों पर जाकर लोगों को चेतावनी देते हैं। अगर आप देखें तो लोग अक्सर 'मैं तो बस थोड़ी देर के लिए आया हूँ' बोलते हैं, लेकिन पानी का बहाव उनके लिए बहुत तेज हो जाता है। हमने एक वीडियो बनाया है जिसमें बताया गया है कि बारिश के दौरान कितने लोग डूबे हैं-ये वीडियो शेयर करें, और अपने दोस्तों को भी बताएं। 🙏
Vishal Kalawatia
जुलाई 6, 2024 AT 04:06अरे भाई, ये सब बकवास है। जब तक लोग अपनी बेवकूफी नहीं छोड़ेंगे, तब तक ये घटनाएं चलती रहेंगी। बारिश में डैम के पास जाना बच्चों के लिए भी खतरनाक है? तो फिर घर में बैठे रहो, बाहर न निकलो। इंडिया में हर चीज़ पर नियम लगाने की कोशिश कर रहे हो-क्या अब बारिश के लिए लाइसेंस लेना पड़ेगा? ये लोग अपने बच्चों को बाहर नहीं जाने देते, फिर बच्चे कैसे बड़े होंगे? इसका जवाब नहीं है-बस बारिश के दिन घर में बैठो।
Kirandeep Bhullar
जुलाई 6, 2024 AT 14:46इस तरह के हादसे को 'दुर्घटना' कहना बहुत आसान है। लेकिन ये दुर्घटना नहीं, ये एक समाज का अनुचित व्यवहार है। हमने प्रकृति को एक विनोद स्थल बना दिया है, जहाँ हम अपनी इच्छाओं को बरत सकते हैं। लेकिन प्रकृति कोई खिलौना नहीं है। ये एक शक्ति है, जो अपनी शर्तों पर बात करती है। जब तक हम इसे अपने आप के लिए नहीं बनाएंगे, तब तक हमारे बच्चे डूबते रहेंगे। और जब वो डूब जाएंगे, तो हम रोएंगे-लेकिन कभी सीखेंगे नहीं। ये निरंतरता ही हमारा असली अपराध है।
DIVYA JAGADISH
जुलाई 8, 2024 AT 10:34बारिश में डैम के पास न जाएं। बच्चों को बाहर न ले जाएं। सुरक्षा पहले।