जब हम एलजीबीटीक्यू, एक व्यापक शब्द है जो समलैंगिक, समलैंगिक, बायसेक्सुअल, ट्रांसजेंडर और क्वियर व्यक्तियों को सम्मिलित करता है. Also known as LGBTQ+, it serves as a collective identity for people whose sexual orientation or gender identity differs from the majority norm.
इस आंदोलन की दो प्रमुख धुरी हैं लैंगिक पहचान, व्यक्ति के भीतर मौजूद जेंडर अनुभव जो सामाजिक अपेक्षाओं से अलग हो सकता है और यौनिक अभिविन्यास, किसी व्यक्ति की रोमांटिक या यौन आकर्षण की दिशा. दोनों मिलकर यह निर्धारित करते हैं कि कोई व्यक्ति खुद को कैसे महसूस करता है और समाज में कैसे प्रस्तुत होता है. ये दो घटक अक्सर एक-दूसरे से जुड़ते हैं, लेकिन एक ही नहीं होते; इसलिए प्रत्येक को अलग‑अलग समझना जरूरी है.
समाज में समान अधिकार, कानूनी, आर्थिक और सामाजिक स्तर पर सभी लोगों को बराबर अवसर देना की वकालत भी एलजीबीटीक्यू आंदोलन का मुख्य लक्ष्य है. इन अधिकारों में शादी की कानूनी मान्यता, कार्यस्थल में भेदभाव-मुक्त वातावरण, स्वास्थ्य सेवाओं तक आसान पहुंच और शैक्षिक संस्थानों में सुरक्षा शामिल हैं. जब इनमें से कोई भी अधिकार बाधित होता है, तो पूरे समुदाय की भलाई पर असर पड़ता है.
एलजीबीटीक्यू को समझने के लिए हमें यह देखना चाहिए कि ये शब्द सिर्फ पहचान नहीं, बल्कि सामाजिक बदलाव का एंजेल भी है. पहला, सामाजिक मान्यताएँ अक्सर पारंपरिक लैंगिक भूमिकाओं पर आधारित होती हैं; जब कोई इन भूमिकाओं से बाहर निकलता है तो उसे भेदभाव झेलना पड़ता है. दूसरा, कई देशों में कानून अभी भी एलजीबीटीक्यू व्यक्तियों को पूरी तरह से मान्यता नहीं देते, जिससे बुनियादी अधिकारों पर प्रतिबंध रहता है. तीसरा, प्राइड मार्च जैसी सार्वजनिक घटनाएँ इस कमी को चिह्नित करने और सभी को जागरूक करने का मंच बन गई हैं.
इन तीन बिंदुओं को जोड़ते हुए हम बुनियादी व्याकरण बनाते हैं: "एलजीबीटीक्यू सामाजिक आंदोलन है जो लैंगिक पहचान और यौनिक अभिविन्यास की विविधता को मान्यता देता है, समान अधिकारों की मांग करता है और प्राइड मार्च जैसे सार्वजनिक प्रदर्शन के माध्यम से जागरूकता बढ़ाता है." यह वाक्य तीन प्रमुख semantic triples को शामिल करता है – (एलजीबीटीक्यू, encompasses, लैंगिक पहचान), (एलजीबीटीक्यू, requires, समान अधिकार), (प्राइड मार्च, influences, जागरूकता)।
आपके सामने जो लेखों की सूची है, उनमें स्वास्थ्य, शिक्षा, कानूनी पहल, खेल और सांस्कृतिक घटनाओं तक की खबरें शामिल हैं. इन सभी में एलजीटीबीटीक्यू के प्रभाव को देख सकते हैं, चाहे वह वर्जित कानूनों का विश्लेषण हो या प्राइड समारोह की तस्वीरें. अब आप इस संग्रह से नवीनतम अपडेट, व्यक्तिगत कहानियाँ और विशेषज्ञों की राय पढ़ सकते हैं, जो आपको इस विषय को गहराई से समझने में मदद करेंगे.
आगे की सामग्री में आप पाएँगे कि कैसे विविध समुदाय अपने अधिकारों के लिए संघर्ष कर रहा है, किस तरह के सामाजिक बदलाव हो रहे हैं और किन चुनौतियों का सामना करना पड़ता है. चाहे आप इस विषय से नया हों या पहले से ही जागरूक, यहाँ प्रस्तुत लेख आपके ज्ञान को समृद्ध करेंगे.
डेन वैन निएरके और मरिज़ाने कप्प ने 7 जुलाई 2018 को शादी कर अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में एलजीबीटीक्यू+ प्रतिनिधित्व को नया मुकाम दिया.